कार्यपालिका की आत्मकथा Karyapalika ki atmakatha in hindi
Karyapalika ki atmakatha in hindi
नमस्कार दोस्तों आज हम आपके लिए लाए हैं कार्यपालिका पर हमारे द्वारा लिखित यह काल्पनिक आत्मकथा इसे आप जरूर पढ़ें तो चलिए पढ़ते हैं आज के हमारे इस बेहतरीन आर्टिकल को।
मैं कार्यपालिका हूं। मेरे अंदर कई तरह के लोग कार्य करते हैं और अपने कार्य को कर्तव्य समझकर निभाते हैं। मेरे अंदर कार्य करने वाले बड़े-बड़े राजनेता होते हैं जो पब्लिक द्वारा चुने जाते हैं जिनका कर्तव्य होता है जनता की समस्याओं को समझकर उन्हें दूर करना।
मेरे लिए यह काफी खुशी की बात होती है कि राजनेता जनता की समस्याओं को दूर करते हैं वास्तव में कई राजनेता बड़े-बड़े पदों पर आश्रित मंत्री जनता की समस्याओं को समझकर उन्हें काफी हद तक दूर करते हैं और देश के विकास में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं लेकिन मेरे अंदर कार्य करने वाले कई राजनेता, कर्मचारी ऐसे भी होते हैं जो सही तरह से कार्य नहीं करते जिनकी वजह से मैं हमेशा उदास रहती हूं।
राजनेताओं के अलावा कई सरकारी कर्मचारी भी मेरे अंदर कार्य करते हैं और भ्रष्टाचार में लिप्त होते हैं जिन्हें देखकर मुझे बहुत बुरा महसूस होता है लेकिन जो सच के मार्ग पर चलते हैं, हमेशा जनता के हितों के बारे में सोचते हैं, देश हित के बारे में सोचते हैं उनके बारे में सोचकर मुझे गर्व महसूस होता है कि वह मेरे अंदर कार्य करते हैं।
मैं कार्यपालिका ऐसे समय में काफी गर्व महसूस करती हूं जब किसी के द्वारा किए गए अच्छे कार्य पर सेलिब्रेशन मनाया जाता है ऐसा महसूस करती हूं कि मैं खुद उसको शुभकामनाएं दूं। मैं कार्यपालिका हमेशा यह उम्मीद करती हूं कि मेरे अंदर कार्य करने वाले लोग हमेशा ऐसा कार्य करें जो देश हित में हो जिससे लोगों का भला हो।
दोस्तों कार्यपालिका पर मेरे द्वारा लिखी गई आत्मकथा Karyapalika ki atmakatha in hindi आपको कैसी लगी हमें जरूर बताएं और हमारे इस आर्टिकल को ज्यादा से ज्यादा शेयर करें और हमें सब्सक्राइब करना ना भूले जिससे इस तरह के बेहतरीन आर्टिकल हम आपके समक्ष प्रस्तुत करते रहें।