अंतर्राष्ट्रीय साक्षरता दिवस पर निबंध international literacy day essay in hindi

saksharta diwas essay in hindi

दोस्तों आज हम आपको अंतरराष्ट्रीय साक्षरता दिवस के बारे में बताने जा रहे हैं । यह लेख अंतर्राष्ट्रीय साक्षरता दिवस पर लिखा गया है । चलिए अब हम इस लेख को पढ़ेगे ।

international literacy day essay in hindi
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अंतर्राष्ट्रीय साक्षरता दिवस पूरे विश्व में मनाया जाता है ।अंतर्राष्ट्रीय साक्षरता दिवस को मनाने का फैसला यूनेस्को ने किया था । अंतर्राष्ट्रीय साक्षरता दिवस को मनाने का फैसला 7 नवंबर 1965 को यूनेस्को ने किया था और यूनेस्को  देश ने सभी देशों को यह बताया था कि सभी देश शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए 8 सितंबर को सभी एक साथ मिलकर अंतरराष्ट्रीय साक्षरता दिवस मनाएंगे और यह  साक्षरता दिवस अंतरराष्ट्रीय साक्षरता दिवस कहलायेगा । इस अंतरराष्ट्रीय साक्षरता दिवस से सभी देश जुड़ेंगे और सभी देशों का विकास होगा क्योंकि जब तक देश के लोगों को शिक्षित नहीं किया जाएगा तब तक देश का विकास संभव नहीं है ।

शिक्षा से मनुष्य का मानसिक विकास होता है । वह शिक्षा प्राप्त करके एक अच्छा इंसान बनता है । शिक्षा के बिना एक व्यक्ति का जीवन जानवर के समान होता है क्योंकि उसे किसी भी चीज की जानकारी नहीं होती है । पढ़ना लिखना सभी का अधिकार है । पढ़ लिख कर एक अच्छे इंसान बनना सभी का हक होता है । शिक्षा से व्यक्ति का विकास होता है । व्यक्ति से देश का विकास होता है । यदि शिक्षा नहीं होती तो हम आज जो वैज्ञानिकों के द्वारा बनाए गए साधनों का उपयोग कर रहे हैं वह साधन हमें नहीं मिल पाते  यह शिक्षा के कारण ही संभव हो पाया है । आज कई देश ऐसे हैं जहां के लोग पढ़े लिखे नहीं हैं ।

वहां पर बहुत अधिक गरीबी होती है क्योंकि वह देश विकास नहीं कर पाता है । इसलिए अंतरराष्ट्रीय साक्षरता दिवस मनाया जाता है । जिस देश में शिक्षा के साधन उपलब्ध नहीं है उन देशों को अंतर्राष्ट्रीय साक्षरता दिवस पर सभी देशों से फंड दिया जाता है जिससे कि वह देश भी शिक्षित हो सके । बगैर शिक्षा के कोई भी देश आगे नहीं बढ़ सकता है । आज विश्व में ऐसी ऐसी टेक्नोलॉजी आ रही है कि हम सोच भी नहीं सकते हैं । हर सुविधाएं हमें प्राप्त हो रही हैं यह शिक्षा के कारण ही संभव हो पाया है । जब यूनेस्को ने 7 नवंबर 1965 को अंतरराष्ट्रीय साक्षरता दिवस मनाने का फैसला किया और सभी देशों ने इसका समर्थन किया था ।

1966 में सभी देशों ने अंतरराष्ट्रीय साक्षरता दिवस एक साथ मिलकर मनाया था । अंतरराष्ट्रीय साक्षरता दिवस के शुभ अवसर पर लड़के और लड़की दोनों की शिक्षा पर बातचीत की जाती है । आज भी कुछ लोग ऐसे हैं जिन्होंने शिक्षा प्राप्त नहीं की है । शिक्षा प्राप्त ना करने से व्यक्ति को बहुत सी ठोकरें खानी पड़ती हैं । लड़की और लड़का दोनों का शिक्षित होना बहुत ही आवश्यक है । शिक्षा से मानव के मस्तिष्क का विकास होता है । शिक्षा से उसके सोचने समझने की शक्ति बढ़ती है । शिक्षा के बिना एक व्यक्ति का जीवन जानवर के समान माना जाता है । यदि मनुष्य को इंसान बनाना है तो उसे शिक्षा दिलाना बहुत ही आवश्यक है ।

किसी भी देश का विकास वहां की जनता पर निर्भर करता है । जब वहां की जनता शिक्षित होती है तो वहां दिन-प्रतिदिन विकास बढ़ता जाता है । वहां के लोग निरंतर काम करते रहते हैं । शिक्षा प्राप्त करके नई नई टेक्नोलॉजी का उपयोग करके अपना और अपने देश का विकास होता है । अंतर्राष्ट्रीय साक्षरता दिवस पर लोगों को शिक्षा की ओर  बढ़ने के उत्साहित  किया जाता है  । तरह तरह के कार्यक्रम शिक्षा को बढ़ावा देने के लिए किए जाते हैं । जिससे  सभी लोग अपने बच्चों को पढ़ाने के लिए स्कूल में भेजें । अंतर्राष्ट्रीय साक्षरता अभियान से कई देशों का शिक्षा स्तर बढ़ा हैं ।

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