किरण बेदी की जीवनी kiran bedi biography in hindi
kiran bedi biography in hindi
दोस्तों आज हम आपके लिए लाए हैं किरण बेदी की जीवनी । चलिए अब हम पढ़ेंगे किरण बेदी की जीवनी को ।
जन्म – किरण बेदी जी का जन्म 9 जून 1949 को अमृतसर में हुआ था ।
प्रारंभिक जीवन – किरण बेदी जी का जन्म अमृतसर में हुआ था । उनके पिता का नाम प्रकाश लाल पेशावरिया एवं माता का नाम प्रेमलता था । उनके माता-पिता उनसे बहुत प्रेम करते थे । उनका विवाह बृज बेदी से 1972 में हुआ था । प्रारंभ से ही पढ़ाई में रुचि रखती थी । उन्होंने पढ़ाई में बहुत मेहनत की थी वह निरंतर पढ़ाई के क्षेत्र में आगे बढ़ने की कोशिश करती रहती थी । जिस समय पढ़ाई करती थी उस समय देश की लड़कियों को पढ़ाने में कोई विश्वास नहीं रखता था उस समय उन्होंने पढ़ लिख कर देश की महिलाओं का नाम रोशन किया था और यह साबित कर दिया था कि महिलाएं कुछ भी कर सकती हैं ।
उन्होंने अपनी पढ़ाई के दम पर उपलब्धि हासिल की थी । हमारे भारत में वह पुलिस अधिकारी बनी थी । पुलिस अधिकारी बनने के बाद उन्होंने कई उपलब्धि हासिल की थी । उन्होंने कई मौके पर अपनी बहादुरी दिखाई थी । 1977 में जब वह पुलिस में थी तब उन्होंने इंडिया गेट पर हो रहे अकाली और निरंकारीयों के बीच हो रहे सिख दंगों को संभाला और अपनी सोच ,विचार से उन दंगों को खत्म किया था यह उनकी सबसे बड़ी उपलब्धि थी । उनकी यह उपलब्धि इतिहास में याद की जाएगी । उन्होंने पुलिस का नाम रोशन किया था ।
शिक्षा – किरण बेदी जी ने अपनी प्रारंभिक पढ़ाई अमृतसर से की थी । उन्होंने 12वीं क्लास तक स्कूल में पढ़ाई की थी । ईसके बाद वह ग्रेजुएशन करने के लिए अमृतसर के कॉलेज में भर्ती हो गई थी । उन्होंने अमृतसर से ग्रेजुएशन किया था । इसके बाद वह मास्टर डिग्री प्राप्त करने के लिए वह पंजाब के यूनिवर्सिटी चली गई थी । वहां से उन्होंने पॉलिटिकल साइंस में मास्टर डिग्री हासिल की थी । इसके बाद उन्होंने 1993 में दिल्ली के सोशल साइंस विभाग से आईआईटी में पीएचडी की उपाधि हासिल की थी । वह पढ़ाई के साथ साथ खेलने में भी रुचि रखती थी। उन्हें टेनिस खेलना बहुत पसंद था । 1970 में उन्होंने टेनिस चैंपियनशिप जीती थी । उसी वर्ष इनका इंडियन पुलिस अकैडमी में प्रवेश हुआ था ।
उपलब्धि – 1972 में उन्होंने एशिया महिला की टेनिस चैंपियनशिप जीती थी । 1972 में ही उन्होंने इंडियन पुलिस अकैडमी में प्रवेश किया था । 1972 में ही उनको पुलिस अधिकारी के रूप में चुन लिया गया था। वह 1974 में पुलिस की सबसे बड़ी अधिकारी बनी थी । पुलिस अधिकारी बनने के बाद उन्होंने कई ऐसे फैसले लिए जिससे हमारे देश की जनता का भला हुआ था । 1977 में उन्होंने इंडिया गेट पर हो रहे दंगे को अपनी मेहनत और काबिलियत से रोका था । यदि वह अपने दिमाग से इस दंगे को नहीं रोकती तो बहुत बड़ा नुकसान हमारे देश का हो जाता । यह उनकी सबसे बड़ी उपलब्धियों में से एक है इस उपलब्धि को इतिहास में याद किया जाएगा ।
1979 में उन्हें पश्चिम दिल्ली की डीसीपी पद के लिए चुना गया था । जब वह 1972 में पुलिस अकैडमी में शामिल हुई तब वह भारत की पहली महिला अधिकारी बनी थी । उन्होंने देश की महिलाओं का नाम रोशन किया था और यह साबित कर दिया था कि हमारे देश की महिलाएं कुछ भी कर सकती हैं । यदि लड़कियां अपनी मेहनत और दिमाग से पढ़ाई करें तो कुछ भी हासिल कर सकती है । उन्होंने पुलिस अधिकारी बनने के बाद कई काम किए थे । जब वह पुलिस अधिकारी बनी तो उनका एक ही मकसद था देश में चोरी ,चकारी एवं जो भी क्राइम हो रहे हैं उनको रोका जाए । वह एक सच्ची और मेहनती ईमानदार पुलिस अधिकारी थी । वह कई पदों पर रही हैं। डीएसपी ,आईजी के पद भी उन्होंने संभाले हैं । 1993 में उनको आईजी पद मिला था । किरण बेदी जी ने 2007 में इस्तीफा दे दिया था । उन्होंने इसलिए इस्तीफा दिया था कि वह सामाजिक गतिविधियों पर लेख लिख सकें ।
पुरस्कार – उनको 1994 में रमण मेगसेसे पुरस्कार से सम्मानित किया गया था ।
दोस्तों हमारे द्वारा लिखा गया यह लेख किरण बेदी की जीवनी kiran bedi biography in hindi आपको पसंद आए तो शेयर जरूर करें धन्यवाद ।