मेरी पहली यात्रा पर निबंध Meri pehli yatra essay in hindi

Meri pehli yatra essay in hindi

दोस्तों आज हम आपको इस आर्टिकल के माध्यम से मेरी पहली यात्रा पर लिखें निबंध के बारे में बताने जा रहा हूं तो चलिए हम आगे बढ़ते हैं और इस सुंदर लेख को पढ़कर मेरी पहली यात्रा के बारे में जानकारी प्राप्त करते हैं ।

मेरी पहली यात्रा पर लिखें निबंध
मेरी पहली यात्रा पर लिखें निबंध

जैसा कि हम सभी के जीवन में एक पहेली यात्रा करने का अवसर अवश्य आता है । मेरे जीवन में भी ऐसा ही समय आया और मुझे यात्रा करने का मौका प्राप्त हुआ । यात्रा की सारी घटना के बारे में बताऊं इससे पहले मैं आपको यह बता देना चाहता हूं कि मुझे पहली यात्रा करने का अवसर कैसे प्राप्त हुआ । मैं काफी समय से वैष्णो देवी की यात्रा , माता वैष्णो देवी के दर्शन करने की सोच रहा था परंतु मुझे ऐसा कोई व्यक्ति नहीं मिल रहा था जो मेरे साथ वैष्णो देवी की यात्रा करने के लिए जा सके ।

एक बार अचानक से एक व्यक्ति मुझे बाजार में मिल जाता है । उस व्यक्ति से मैं बातचीत करने लगता हूं । बातचीत करते करते ही माता वैष्णो देवी के दर्शन करने की बातचीत होने लगती है और वह व्यक्ति मुझसे कहता है की मुझे माता वैष्णो देवी के दर्शन करने के लिए जाना है । मैंने भी उस व्यक्ति से कहा कि मुझे भी जाना है तो दोनों ने यह विचार बना लिया कि माता वैष्णो देवी के दर्शन करने के लिए अवश्य जाएंगे । उसी समय उसी दिन दोनों ने वैष्णो देवी की यात्रा करने के लिए टिकट बुक कर दी थी । इसके बाद तकरीबन 8 से 10 लोग वैष्णो देवी के लिए टिकट बुक करने के लिए तैयार हो गए थे ।

मैं अपने मित्रों के साथ वैष्णो देवी की यात्रा के लिए तैयार था । सबसे पहले मैं गुना स्टेशन से अपने सभी मित्र मंडली के साथ मिलकर बीना स्टेशन पर पहुंचा क्योंकि बीना स्टेशन से ही हमको जम्मू तक की ट्रेन मिलना थी । हम सभी बीना स्टेशन पर पहुंचे और वहां से हम ट्रेन में बैठकर जम्मू पहुंचे । बीना से लेकर जम्मू तक के सफर में हम सभी मित्र मंडली आनंद प्राप्त करते हुए पहुंचे । जब हम जम्मू पहुंचे तब हमें बड़ा ही आनंद प्राप्त हो रहा था । जम्मू से हम एक बस के माध्यम से कटरा पहुंचे । कटरा पहुंचतेे-पहचते हम सभी को रात हो गई थी ।

हम सभी मित्र मंडली ने विचार बनाया कि एक होटल में एक रूम किराए से लिया जाए और उसी होटल में खाना खाकर थोड़ा विश्राम करते हैं । इसके बाद सुबह 4:00 बजे से माता वैष्णो देवी के धाम की चढ़ाई करना प्रारंभ करेंगे । ऐसा विचार बना करके हम होटल में रुक गए । होटल में हम सभी ने खाना खाया और वहीं पर विश्राम किया और जब सुबह के 3:00 बजे तब हम सभी उठ गए और स्नान करके माता वैष्णो देवी की चढ़ाई हम सभी ने मिलकर प्रारंभ की  और तकरीबन 3 से 4 घंटे में हम माता वैष्णो देवी के दरबार में पहुंच गए और वहां पर हमने माता वैष्णो देवी के दर्शन किए ।

जब हम माता वैष्णो देवी के दर्शन कर रहे थे तब हमें बड़ा ही आनंद प्राप्त हो रहा था । वहां से वापस आने का हमारा मन बिल्कुल भी नहीं कर रहा था । इस तरह से हम माता वैष्णो देवी के धाम पर पहुंचे और वहां पर माता वैष्णो देवी के दर्शन किए और आनंद प्राप्त किया । माता वैष्णो देवी की यात्रा मेरे जीवन की सबसे अच्छी यात्रा है जिस यात्रा का आनंद मैं अभी तक प्राप्त कर रहा हूं । यह मेरी पहली और सबसे अच्छी यात्रा है ।

दोस्तों हमारे द्वारा लिखा गया यह सुंदर लेख मेरी पहली यात्रा पर लिखें निबंध आपको कैसा लगा इसके विषय में हमें कमेंट के माध्यम से बताएं जिससे की आने वाले समय में इस तरह के सुंदर सुंदर लेख आप लोगों तक पहुंचा सके धन्यवाद ।

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